खंडवा: जावर के भकराड़ा गांव में रविवार दोपहर में बड़ा हादसा हो गया। बिन मां की चार बेटियों में से दो बेटियों की तालाब में डूबने से मौत हो गई। दो मासूम बेटियों के सामने उनकी बड़ी बहनों की जिंदगी पर ऐसा ग्रहण लगा कि पानी में उतरने के बाद वे वापस न आ सकीं। इनकी मां का तीन साल पहले निधन हो गया था। जबकि पिता मजदूरी करने जाते थे। जो बेटियां डूब गईं, वे ही घर संभालती थींं।
जानकारी अनुसार जिले के जावर थाना क्षेत्र के ग्राम भकराड़ा में रविवार को हुई दर्दनाक घटना ने पूरे इलाके को स्तब्ध कर दिया। जंगल के बीच बने तालाब में डूबने से दो मासूम सगी बहनों की मौत हो गई। दोपहर करीब 2 बजे भिलाला आदिवासी के सुनील की चार बेटियां घर के पास बने तालाब पर कपड़े धोने गई थीं। कपड़े धोते समय बड़ी बहनें शिवानी (8) और सपना (12) पानी में गहराई तक चली गईं और डूब गईं। उस समय केवल उनकी दो छोटी बहनें, जिनकी उम्र 3 और 4 साल है, वहां मौजूद थीं। वे इस हादसे को रोक नहीं पाईं और घबराकर घर लौटकर पिता और परिजनों को पूरी घटना की जानकारी दी।
मासूम बेटियों की चीख सुनकर आसपास के लोग दौड़े
सुनील की 3 और 4 साल की बेटियों ने जब बड़ी बहनों के तालाब से बाहर न आने की जानकारी घर जाकर दी तो सबके होश उड़ गए। वे चीखते हुए तालाब की तरफ दौड़े। आसपास के ग्रामीण भी उनके साथ तालाब पर पहुंचे, लेकिन तब तक देर हो चुकी थी। बाद में गांव के तैराकों ने तालाब में उतरकर बच्चियों के शव को निकाला।
गरीब परिवार की थी मासूम बेटियां
इस हादसे ने गरीब मजदूर परिवार की खुशियों को छीन लिया। मृतक बच्चियों के पिता सुनील मजदूरी करके परिवार का पालन-पोषण करते हैं। उनकी पत्नी का निधन तीन साल पहले ही हो चुका था। तब से चारों बहनों की देखभाल और घर की जिम्मेदारी सुनील और उनकी दोनों बड़ी बेटियां आपस में मिलकर उठाती थींं। परिवार के सामने तालाब होने के कारण वे अक्सर नहाने और यहीं कपड़े धोते थे। मामले में जावर थाना प्रभारी ने बताया कि मामले को जांच में लिया है। प्रथम दृष्टया एक्सीडेंटल रूप से पानी में डूबने के कारण दोनों बच्चियों की मौत हुई है। हम जांच कर रहे हैं।
जानकारी अनुसार जिले के जावर थाना क्षेत्र के ग्राम भकराड़ा में रविवार को हुई दर्दनाक घटना ने पूरे इलाके को स्तब्ध कर दिया। जंगल के बीच बने तालाब में डूबने से दो मासूम सगी बहनों की मौत हो गई। दोपहर करीब 2 बजे भिलाला आदिवासी के सुनील की चार बेटियां घर के पास बने तालाब पर कपड़े धोने गई थीं। कपड़े धोते समय बड़ी बहनें शिवानी (8) और सपना (12) पानी में गहराई तक चली गईं और डूब गईं। उस समय केवल उनकी दो छोटी बहनें, जिनकी उम्र 3 और 4 साल है, वहां मौजूद थीं। वे इस हादसे को रोक नहीं पाईं और घबराकर घर लौटकर पिता और परिजनों को पूरी घटना की जानकारी दी।
मासूम बेटियों की चीख सुनकर आसपास के लोग दौड़े
सुनील की 3 और 4 साल की बेटियों ने जब बड़ी बहनों के तालाब से बाहर न आने की जानकारी घर जाकर दी तो सबके होश उड़ गए। वे चीखते हुए तालाब की तरफ दौड़े। आसपास के ग्रामीण भी उनके साथ तालाब पर पहुंचे, लेकिन तब तक देर हो चुकी थी। बाद में गांव के तैराकों ने तालाब में उतरकर बच्चियों के शव को निकाला।
गरीब परिवार की थी मासूम बेटियां
इस हादसे ने गरीब मजदूर परिवार की खुशियों को छीन लिया। मृतक बच्चियों के पिता सुनील मजदूरी करके परिवार का पालन-पोषण करते हैं। उनकी पत्नी का निधन तीन साल पहले ही हो चुका था। तब से चारों बहनों की देखभाल और घर की जिम्मेदारी सुनील और उनकी दोनों बड़ी बेटियां आपस में मिलकर उठाती थींं। परिवार के सामने तालाब होने के कारण वे अक्सर नहाने और यहीं कपड़े धोते थे। मामले में जावर थाना प्रभारी ने बताया कि मामले को जांच में लिया है। प्रथम दृष्टया एक्सीडेंटल रूप से पानी में डूबने के कारण दोनों बच्चियों की मौत हुई है। हम जांच कर रहे हैं।
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