नवी मुंबई   : भारतीय टीम ने महिला विश्व कप 2025 का खिताब जीत लिया है। फाइनल मुकाबले में भारत ने साउथ अफ्रीका को हराया। यह महिला क्रिकेट में भारत की पहली आईसीसी ट्रॉफी है। नवी मुंबई की डीवाई पाटिल स्टेडियम में पहले खेलते हुए भारतीय टीम ने 298 रन बनाए। जवाब में साउथ अफ्रीका की टीम 246 रन ही बना सकी। इस तरह हरमनप्रीत कौर की टीम 52 रनों से विजेता बनी।   
   
कप्तान ने हेड कोच के पैर छुए
     
भारतीय टीम के चैंपियन बनने के बाद कप्तान हरमनप्रीत कौर ने मुख्य कोच अमोल मजूमदार के पैर छूकर अपना सम्मान और आभार व्यक्त किया। यह भावुक पल भारत के ऐतिहासिक जीत के अभियान के दौरान दोनों के बीच गहरे रिश्ते को दर्शाता है। यह जीत तब पक्की हुई जब हरमनप्रीत ने नादिन डी क्लर्क का आखिरी कैच लपका, जिससे दक्षिण अफ्रीका की पारी 246 रनों पर समाप्त हुई और भारत ने 299 रनों का लक्ष्य हासिल किया।
     
टीम पर मजूमदार का काफी असर
   
मैच के बाद हरमनप्रीत कौर ने 2023 में कोच बनने के बाद से अमोल मजूमदार के स्थिर प्रभाव को स्वीकार किया। उन्होंने कहा- सर का पिछले ढाई सालों में योगदान अद्भुत रहा है। उनके आने के बाद सब कुछ स्थिर और सुचारू हो गया। उन्होंने हमें दिन-रात अभ्यास कराया, जो भी सुधार की जरूरत थी उसे बार-बार दोहराया। मुझे बहुत खुशी है कि हमें उनके साथ काम करने का मौका मिला।
   
घरेलू क्रिकेट के सबसे दिग्गज बल्लेबाजों में शामिल रहे अमोल मजूमदार भी इस मौके से काफी भावुक थे। उन्होंने कप्तान के नेतृत्व और दबाव में शांत रहने की क्षमता की सराहना की। उन्होंने कहा- जब मैंने पदभार संभाला, तो मेरी पहली कॉल हरमन को गई थी। वह तब ऑस्ट्रेलिया में थीं। हमने इस बारे में बात की कि हम चीजों को कैसे आगे ले जाना चाहते हैं और इससे एक अच्छी शुरुआत हुई। मैं एक लीडर के तौर पर उनका बहुत सम्मान करता हूं।
कप्तान ने हेड कोच के पैर छुए
भारतीय टीम के चैंपियन बनने के बाद कप्तान हरमनप्रीत कौर ने मुख्य कोच अमोल मजूमदार के पैर छूकर अपना सम्मान और आभार व्यक्त किया। यह भावुक पल भारत के ऐतिहासिक जीत के अभियान के दौरान दोनों के बीच गहरे रिश्ते को दर्शाता है। यह जीत तब पक्की हुई जब हरमनप्रीत ने नादिन डी क्लर्क का आखिरी कैच लपका, जिससे दक्षिण अफ्रीका की पारी 246 रनों पर समाप्त हुई और भारत ने 299 रनों का लक्ष्य हासिल किया।
टीम पर मजूमदार का काफी असर
मैच के बाद हरमनप्रीत कौर ने 2023 में कोच बनने के बाद से अमोल मजूमदार के स्थिर प्रभाव को स्वीकार किया। उन्होंने कहा- सर का पिछले ढाई सालों में योगदान अद्भुत रहा है। उनके आने के बाद सब कुछ स्थिर और सुचारू हो गया। उन्होंने हमें दिन-रात अभ्यास कराया, जो भी सुधार की जरूरत थी उसे बार-बार दोहराया। मुझे बहुत खुशी है कि हमें उनके साथ काम करने का मौका मिला।
घरेलू क्रिकेट के सबसे दिग्गज बल्लेबाजों में शामिल रहे अमोल मजूमदार भी इस मौके से काफी भावुक थे। उन्होंने कप्तान के नेतृत्व और दबाव में शांत रहने की क्षमता की सराहना की। उन्होंने कहा- जब मैंने पदभार संभाला, तो मेरी पहली कॉल हरमन को गई थी। वह तब ऑस्ट्रेलिया में थीं। हमने इस बारे में बात की कि हम चीजों को कैसे आगे ले जाना चाहते हैं और इससे एक अच्छी शुरुआत हुई। मैं एक लीडर के तौर पर उनका बहुत सम्मान करता हूं।
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